पत्नी सुख दुख का साथी होती है और बच्चे प्रेम का प्रतीक माने जाते हैं ऐसे में यदि आप अपनी किस्मत को चमकाने के उपाय कर रहे हैं तो अपनी पत्नी और बच्चों को कभी भी दुख ना दें। परिवार जितना खुशहाल रहेगा आपकी किस्मत इतनी ही अच्छी रहेगी यदि आप अपने बच्चों को दुख देते हैं तो आपके तरक्की के रास्ते भी बाधित होते हैं इसलिए ध्यान रहे कि अपनी किस्मत को चमकाने के लिए सदैव पति पत्नी और बच्चों को खुश रखें।
इसलिए जरूरी है घर में वास्तु शांति पूजा? – वास्तु शास्त्र टिप्स – isliye jaroori hai ghar mein vastu shanti pooja? – vastu shastra recommendations
'कहते थे बंगला नहीं लूंगा लेकिन जब...,' रमेश बिधूड़ी ने केजरीवाल पर साधा निशाना, पूछे ये सवाल
३. शुक्र्वार की रात को सवा किलो काले चने भिगो दें ! दूसरे दिन शनिवार को उन्हें सरसों के तेल में बना लें ! उसके तीन हिस्से कर लें ! उसमें से एक हिस्सा घोडे या भैंसे को खिला दें !
विवाह की सम्भावना शीघ्र बनती नज़र आयेगी
भृगु संहिता से जानिए किस-किस उम्र में हो सकता है आपका भाग्योदय
इसी आशा के साथ कि, आपको यह लेख भी पसंद आया होगा एस्ट्रोसेज के साथ बने रहने के लिए हम आपका बहुत-बहुत धन्यवाद करते हैं।
लोग लोग अपने कर्म से ज्यादा भाग्य पर भरोसा करते हैं। हाथों में भाग्य रेखाएं होती हैं, उसी तरह कुंडली में नौवां स्थान भाग्य का माना गया है। हालांकि कर्म और भाग्य दोनों ही एक-दूसरे से जुड़े हुए हैं। कर्म के सिद्धांत को समझे बगैर आप भाग्य को नहीं समझ सकते हैं। यदि किसी से यह कहा जाए कि भाग्य जैसा कुछ नहीं होता तो वह ऐसे कई उदाहरण बता देगा जिसमें भाग्य का रोल रहा है, जैसे किसी की लॉटरी खुल जाना, अचानक किसी का मुख्यमंत्री या प्रधानमंत्री बन जाना, आसमान से गिरने के बाद में भी सही-सलामत बच जाना आदि। खैर...
जैतसिंह चुण्डावत- मुक़ाबला जीतने हेतु इस वीर ने स्वयं अपना सिर काटकर फेंका था दुर्ग में »
स्वाइन फ्लू के उपचार
दान करने से घर में कभी खाने-पीने की कमी नहीं होती है. अतः हर शुक्रवार जरूरतमंदों को चावल दान करें. साथ ही मां लक्ष्मी की पूजा करें.
गौ-माता को हल्दी लगी आलू खिलाइए और पीले रंग का सामान दान करें. ऐसा करने से आपका भाग्योदय होगा और आपके कारोबार में आ रही दिक्कतें हल हो जाएंगी.
लाल किताब के अनुसार गुरु यदि छठे, सातवें, आठवें और दसवें घर में है तो वह अशुभ फल देगा। अत: कम से कम इस भाग में बैठे गुरु के उपाय तो करना ही चाहिए। दूसरा यह कि यदि गुरु नवम भाव में बैठे हैं तो सावधानी रखना जरूरी होती है अन्यथा व्यक्ति अपने जागे हुए भाग्य read more को अपने कर्मों से सुला देता है। तो करें ये उपाय।
बाहर से जब भी आप घर में प्रवेश करें तो कभी खाली हाथ ना जाएं। घर में हमेशा कुछ ना कुछ लेकर प्रवेश करें। चाहे वह पेड़ का पत्ता ही क्यों न हो।
Comments on “5 Easy Facts About kismat ka upay Described”